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प्रदीप मिश्रा के कुबेरेश्वर धाम में श्रद्धा पर भारी पड़ी भीड़, दबकर हुई दो की मौत, एक गंभीर

सीहोर। कुबेरेश्वर धाम में आयोजित ...

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सीहोर। कुबेरेश्वर धाम में आयोजित होने जा रही कांवड़ यात्रा से पहले मंगलवार को श्रद्धालुओं की भारी भीड़ ने भयावह रूप ले लिया। व्यवस्था की कमजोरियों और भीड़ की बेकाबू स्थिति के कारण धक्का-मुक्की में तीन श्रद्धालु ज़मीन पर गिर पड़े। अफरा-तफरी में दो लोगों की मौके पर ही जान चली गई, जबकि एक अन्य की हालत नाजुक बताई जा रही है।

कांवड़ यात्रा का आयोजन 6 अगस्त को कुबेरेश्वर धाम से चितावलिया हेमा गांव तक प्रस्तावित है, लेकिन श्रद्धालुओं का सैलाब एक दिन पहले ही उमड़ पड़ा। पंडित प्रदीप मिश्रा द्वारा आयोजित इस धार्मिक आयोजन में बड़ी संख्या में लोग शामिल होने के लिए पहुंच रहे हैं।

भीड़ इतनी अधिक हो गई कि धाम परिसर और आसपास के क्षेत्रों में न ठहरने की पर्याप्त जगह बची, न भंडारे और दर्शन के लिए व्यवस्था काम आई। इससे कई स्थानों पर भगदड़ जैसी स्थिति बन गई।

व्यवस्था का दावा, लेकिन मैदान में फेल

प्रशासन और आयोजन समिति ने पहले दावा किया था कि 4 हजार से ज्यादा श्रद्धालुओं के ठहरने के लिए अलग-अलग स्थानों जैसे नमक चौराहा, राधेश्याम कॉलोनी, बजरंग अखाड़ा, अटल पार्क, शास्त्री स्कूल, लुर्द माता स्कूल और सीवन नदी के किनारे इंतजाम किए गए हैं। साथ ही सावन मास भर प्रसादी वितरण की व्यवस्था भी सुनिश्चित की गई थी।

लेकिन हकीकत कुछ और ही सामने आई। मंगलवार को अचानक बढ़ी भीड़ ने सारी तैयारियों की पोल खोल दी। कई जगहों पर श्रद्धालु बेसहारा भटकते दिखे और वहीं भीड़ के दबाव में गिरने से यह दुखद हादसा हो गया।

डायवर्जन प्लान तैयार, लेकिन समय से लागू नहीं

एसपी दीपक शुक्ला ने पहले ही जानकारी दी थी कि कांवड़ यात्रा के मद्देनज़र 5 अगस्त रात 12 बजे से 6 अगस्त रात 11 बजे तक ट्रैफिक डायवर्जन लागू रहेगा। इसके तहत भारी वाहनों को वैकल्पिक रास्तों से और छोटे वाहनों को न्यू क्रिसेंट चौराहा से अमलाहा मार्ग की ओर डायवर्ट किया जाना था।

लेकिन जब हादसा हुआ, उस समय तक यह ट्रैफिक प्लान पूरी तरह अमल में नहीं आया था। इससे यह सवाल उठता है कि क्या प्रशासन ने समय रहते स्थिति की गंभीरता को नहीं समझा?

प्रशासनिक निगरानी पर भी उठे सवाल

इस आयोजन की ज़िम्मेदारी एसडीएम तन्नय वर्मा को दी गई थी, जिन्हें अपर कलेक्टर वृंदावन सिंह ने नोडल अधिकारी के तौर पर नियुक्त किया था। बावजूद इसके, यह स्पष्ट नहीं हो सका कि हादसे के समय मौके पर कितनी पुलिस, होमगार्ड्स और मेडिकल टीमें तैनात थीं।

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मैं सूरज सेन पिछले 6 साल से पत्रकारिता से जुड़ा हुआ हूं और मैने अलग अलग न्यूज चैनल,ओर न्यूज पोर्टल में काम किया है। खबरों को सही और सरल शब्दों में आपसे साझा करना मेरी विशेषता है।
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