सागर। शासन की जनहितकारी योजनाओं और सार्वजनिक वितरण प्रणाली में पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए प्रशासन ने सख्त रुख अपनाया है। कलेक्टर श्री संदीप जी.आर. के निर्देश पर जिले में चल रही शासकीय उचित मूल्य दुकानों की जांच की गई, जिसमें गंभीर अनियमितताएं सामने आईं। जांच के आधार पर तीन दुकानों का प्राधिकार पत्र निरस्त कर दिया गया है और 25 लाख रुपये से अधिक की वसूली की प्रक्रिया प्रारंभ की गई है।
जांच में सामने आई गड़बड़ियां
सहायक आपूर्ति अधिकारी की ओर से प्रस्तुत प्रतिवेदन में बताया गया कि संबंधित दुकानों में अनियमित वितरण, रिकॉर्ड में हेरफेर और हितग्राहियों को समय पर सामग्री न देने जैसी शिकायतें पाई गईं। इस पर कलेक्टर ने त्वरित संज्ञान लेते हुए कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए। नोटिस मिलने के बाद दुकानदारों ने अपने-अपने जवाब प्रस्तुत किए, लेकिन उनमें लगाए गए आरोपों का कोई ठोस खंडन नहीं हो सका।
तीन दुकानों पर हुई कार्रवाई
पहली दुकान (कांचरी) : जांच में दोषी पाए जाने पर संस्था का प्राधिकार पत्र निरस्त करते हुए 6,38,630 रुपये की वसूली की कार्यवाही प्रारंभ की गई।
दूसरी दुकान (मेहर) : गड़बड़ियां प्रमाणित होने पर 11,50,111 रुपये की वसूली तय की गई।
तीसरी दुकान (खजुरिया गुरू) : गंभीर अनियमितताओं के चलते प्राधिकार पत्र निरस्त कर 6,82,000 रुपये की वसूली की कार्रवाई शुरू की गई।
इस प्रकार तीनों दुकानों से कुल मिलाकर 25 लाख से अधिक राशि की वसूली की जा रही है।
प्रशासन की सख्ती – नियमों के तहत कार्रवाई
प्रशासन ने यह कदम आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 और मध्यप्रदेश सार्वजनिक वितरण प्रणाली (नियंत्रण) आदेश 2015 के तहत उठाया है। नियमों के अनुसार जब भी कोई विक्रेता गंभीर गड़बड़ियों का दोषी पाया जाता है तो उसका प्राधिकार पत्र तत्काल निरस्त किया जाता है और अनियमितता से प्राप्त राशि की वसूली की जाती है।
विक्रेताओं पर क्यों गिरी गाज
ग्राम कांचरी की उचित मूल्य दुकान (कोड 1003080) के विक्रेता अरविंद सोनी, ग्राम मेहर की दुकान (कोड 1001100) की विक्रेता श्रीमती शैलनंदनी सेन पति मनोज सेन, तथा ग्राम खजुरिया गुरू की दुकान (कोड 1001103) के विक्रेता अरविंद कुमार सोनी पर यह कार्रवाई हुई है। तीनों विक्रेताओं को पहले नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया था, लेकिन संतोषजनक उत्तर न मिलने पर कलेक्टर के निर्देश पर एसडीएम श्रीमती अदिति यादव द्वारा यह कठोर कदम उठाया गया।
हितग्राहियों के हक़ से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं
कलेक्टर श्री संदीप जी.आर. ने स्पष्ट किया है कि शासन की योजनाओं के तहत पात्र हितग्राहियों को समय पर और पारदर्शी ढंग से लाभ मिलना चाहिए। उन्होंने कहा कि गरीबों और जरूरतमंदों के अधिकारों से खिलवाड़ करने वाले किसी भी व्यक्ति या संस्था को बख्शा नहीं जाएगा। अनियमितताओं में लिप्त पाए जाने वालों पर इसी प्रकार कड़ी कार्रवाई आगे भी जारी रहेगी।
प्रशासन का संदेश
इस कार्रवाई ने स्पष्ट कर दिया है कि सार्वजनिक वितरण प्रणाली में किसी भी स्तर पर लापरवाही या भ्रष्टाचार स्वीकार्य नहीं होगा। जिन दुकानों पर लोगों की रोज़मर्रा की जरूरतें पूरी करने की जिम्मेदारी होती है, वहां धोखाधड़ी और गड़बड़ियों को किसी भी हालत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।