बीना। बुधवार को एक आदिवासी युवक ने संदिग्ध परिस्थितियों में कीटनाशक दवा का सेवन कर लिया। युवक की हालत गंभीर बताई जा रही है और वह अस्पताल में जीवन और मौत के बीच जूझ रहा है। घटना ने परिजनों और स्थानीय लोगों को गहरे सदमे में डाल दिया है।
युवक की पहचान और हालात
मिली जानकारी के अनुसार, युवक की पहचान महेरी गांव निवासी जितेंद्र आदिवासी पुत्र शंकर आदिवासी के रूप में हुई है। वह नौगांव स्थित बुखारिया दाल मिल में काम करता है। कीटनाशक खाने के बाद उसकी तबीयत अचानक बिगड़ गई, लेकिन हिम्मत दिखाते हुए वह स्वयं अस्पताल पहुंचा और भर्ती हो गया।
अस्पताल सूत्रों के मुताबिक, जब डॉक्टरों ने उससे नाम-पता पूछना चाहा तो उसने शुरू में अपनी पहचान उजागर करने से इंकार कर दिया। इस कारण स्टाफ को उसकी स्थिति को लेकर उलझन बनी रही।
परिवार को ऐसे मिली जानकारी
बाद में उसकी पत्नी ने अपने फूफा कल्लू आदिवासी, जो महेरी गांव में ही रहते हैं, को घटना की खबर दी। कल्लू आदिवासी तुरंत अस्पताल पहुंचे और उन्होंने जितेंद्र की पहचान की पुष्टि की। इसके बाद ही पूरा मामला स्पष्ट हो पाया।
वजह अब तक अज्ञात
परिजनों का कहना है कि जितेंद्र ने किस कारण से यह खतरनाक कदम उठाया, इसका खुलासा अब तक नहीं हो पाया है। घर वालों के अनुसार, उसने किसी प्रकार की परेशानी या विवाद का जिक्र पहले कभी नहीं किया था। फिलहाल, वह गंभीर हालत में है और डॉक्टरों की निगरानी में उसका इलाज जारी है।
पुलिस ने शुरू की जांच
घटना की जानकारी मिलते ही बीना पुलिस हरकत में आई और मामले की जांच शुरू कर दी। पुलिस अधिकारी युवक के बयान दर्ज करने के प्रयास कर रहे हैं, साथ ही परिजनों से पूछताछ कर यह जानने की कोशिश की जा रही है कि आखिर किन परिस्थितियों में उसने यह कदम उठाया।
स्थानीय स्तर पर चर्चा
गांव और आसपास के क्षेत्र में इस घटना को लेकर तरह-तरह की चर्चाएं हो रही हैं। लोग मानते हैं कि युवक का यह कदम किसी मानसिक तनाव या निजी समस्या का नतीजा हो सकता है। हालांकि, आधिकारिक तौर पर अब तक कोई कारण सामने नहीं आया है।
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