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बीमा क्लेम के लिए सजा दी नकली शव की चिता, ब्रजघाट श्मशान घाट में उजागर हुई करोड़ों की साजिश

50 लाख के कर्ज तले ...

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50 लाख के कर्ज तले दबा कपड़ा व्यापारी दोस्त के साथ लेकर आया पुतला, अंतिम संस्कार बताकर बीमा राशि हथियाने की प्लानिंग,पुलिस की सतर्कता से भंडाफोड़

ब्रजघाट। श्मशान घाट में गुरुवार दोपहर ऐसा दृश्य सामने आया, जिसने वहां मौजूद हर व्यक्ति को हक्का-बक्का कर दिया। करीब एक बजे दाह संस्कार के लिए जब युवक को चिता पर रखा गया, तो वहां मौजूद लोगों ने देखा कि शव की जगह शरीर के आकार का पुतला रखा हुआ है। पल भर में बात फैलते ही श्मशान घाट में अफरा-तफरी मच गई और सैकड़ों लोग इकट्ठा हो गए।

मामले की सूचना मिलने पर इंस्पेक्टर मनोज कुमार बालियान तत्काल पुलिस टीम के साथ श्मशान पहुंचे। पुलिस ने मौके पर मौजूद दिल्ली से आए दो युवकों को हिरासत में ले लिया, क्योंकि वही अंतिम संस्कार की पूरी तैयारी में लगे हुए थे।

पुलिस पूछताछ में खुली साजिश

शुरुआत में दोनों युवक अस्पताल से “सील करके लाया हुआ शव” होने की दलील देते रहे। लेकिन पूछताछ गहराने पर उनके जवाब बदलते रहे और संदेह बढ़ता गया। पुलिस ने पुतले को सुरक्षित सील कर लिया और दोनों को थाने ले जाकर अलग-अलग पूछताछ की। कुछ ही देर में पूरा खेल सामने आ गया।

इंस्पेक्टर बालियान के अनुसार, श्मशान में पुतले को शव बताकर दाह संस्कार करने आया था कमल सोमानी, निवासी कैलाशपुरी थाना पालम, दिल्ली। उसके साथ उसका दोस्त आशीष खुराना, निवासी जैन कॉलोनी थाना उत्तम नगर, दिल्ली भी था। दोनों ने दावा किया था कि उनका मित्र अंशुल कुमार, पुत्र धर्मराज, निवासी करोल बाग थाना प्रसाद नगर, दिल्ली की उपचार के दौरान अंसारी अस्पताल में मौत हो गई थी। जबकि वास्तविकता में अंशुल जिंदा है और पूरे मामले से अनजान है।

50 लाख के कर्ज ने रचवाई फिल्मी प्लॉट जैसी योजना

जांच में पता चला कि कमल सोमानी दिल्ली में कपड़ों का व्यवसाय करता है और उस पर करीब 50 लाख रुपये का कर्ज है। कर्ज से निकलने के लिए उसने फिल्मी अंदाज में योजना बनाई। कुछ समय पहले उसकी दुकान में काम किए हुए युवक नीरज के बहाने कमल ने उसके भाई अंशुल के आधार कार्ड और पैन कार्ड ले लिए। इसके बाद लगभग एक साल पहले कमल ने अंशुल के नाम से टाटा AIA का बीमा करवाया और किस्तें नियमित भरता रहा।

योजना के तहत उसने अंशुल के आकार का पुतला कार में रखा, और श्मशान में दाह संस्कार कराकर मृत्यु प्रमाणपत्र लेने की तैयारी थी। अगर पुतले का दाह संस्कार हो जाता, तो बीमा का बड़ा क्लेम हासिल कर वह पूरा कर्ज चुका देता।

समय रहते पुलिस की कार्रवाई

श्मशान पर भीड़ की सूचना पर पहुंची पुलिस ने धोखाधड़ी को अंजाम देने से ठीक पहले दोनों आरोपियों को पकड़ लिया और पुतले को कब्जे में ले लिया। आरोपियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की तैयारी की जा रही है।

पुलिस के अनुसार, मामले में बीमा कंपनी, संबंधित अस्पताल और अंशुल की भूमिका को लेकर आगे और जांच की जाएगी।

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मैं सूरज सेन पिछले 6 साल से पत्रकारिता से जुड़ा हुआ हूं और मैने अलग अलग न्यूज चैनल,ओर न्यूज पोर्टल में काम किया है। खबरों को सही और सरल शब्दों में आपसे साझा करना मेरी विशेषता है।
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